Saturday, December 20, 2014

वो कहते हैं आओ मेरी अंजुमन में
मगर मैं वहाँ अब नहीं जाने वाला
कि अक्सर बुलाया, बुलाकर बिठाया
बिठाकर उठाया, उठाकर निकाला
-नूह नारवी

(अंजुमन = महफ़िल)

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