मन बैरागी, तन अनुरागी, कदम-कदम दुश्वारी है
जीवन जीना सहल न जानो बहुत बड़ी फनकारी है
(सहल = सहज, आसान)
औरों जैसे होकर भी हम बा-इज़्ज़त हैं बस्ती में
कुछ लोगों का सीधापन है, कुछ अपनी अय्यारी है
(अय्यारी = चालाकी, धूर्तता)
जब-जब मौसम झूमा हम ने कपड़े फाड़े शोर किया
हर मौसम शाइस्ता रहना कोरी दुनियादारी है
(शाइस्ता = सभ्य, शिष्ट)
ऐब नहीं है उसमें कोई, लाल परी न फूल गली
यह मत पूछो, वह अच्छा है या अच्छी नादारी
(नादारी = गरीबी, निर्धनता)
जो चेहरा देखा वह तोड़ा, नगर-नगर वीरान किए
पहले औरों से नाखुश थे अब खुद से बेज़ारी है
(बेज़ारी = अप्रसन्नता, नाराज़गी)
- निदा फ़ाज़ली
जीवन जीना सहल न जानो बहुत बड़ी फनकारी है
(सहल = सहज, आसान)
औरों जैसे होकर भी हम बा-इज़्ज़त हैं बस्ती में
कुछ लोगों का सीधापन है, कुछ अपनी अय्यारी है
(अय्यारी = चालाकी, धूर्तता)
जब-जब मौसम झूमा हम ने कपड़े फाड़े शोर किया
हर मौसम शाइस्ता रहना कोरी दुनियादारी है
(शाइस्ता = सभ्य, शिष्ट)
ऐब नहीं है उसमें कोई, लाल परी न फूल गली
यह मत पूछो, वह अच्छा है या अच्छी नादारी
(नादारी = गरीबी, निर्धनता)
जो चेहरा देखा वह तोड़ा, नगर-नगर वीरान किए
पहले औरों से नाखुश थे अब खुद से बेज़ारी है
(बेज़ारी = अप्रसन्नता, नाराज़गी)
- निदा फ़ाज़ली
This was quoted in the movie AYYARI
ReplyDeleteदिल छू लिया ,
ReplyDeleteमुझे गर्व है अपनी मातृभाषा पर
I came to this post while searching for the meaning of this poem. Good job, for providing meaning of difficult words! This poem is contextual and contemporary (guess whom i see as the अय्यार!)
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