Monday, February 4, 2013

हाले-ग़म उन को सुनाते जाइए
शर्त ये है मुस्कुराते जाइए

आप को जाते न देखा जाएगा
शम्मअ को पहले बुझाते जाइए

शुक्रिया लुत्फ़े-मुसलसल का मगर
गाहे-गाहे दिल दुखाते जाइए

[(लुत्फ़े-मुसलसल = लगातार आनंद), (गाहे-गाहे = कभी कभी)]

दुश्मनों से प्यार होता जाएगा
दोस्तों को आज़माते जाइए

रोशनी महदूद हो जिनकी 'ख़ुमार'
उन चराग़ों को बुझाते जाइए

(महदूद = जिसकी हद बाँध दी गई हो, सीमित)

-खुमार बाराबंकवी

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